समानांतर कथा
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2015 और उसके बाद के वर्षों में मुझसे किसी ने पूछा कि क्या विभिन्न पश्चिमी परंपराओं में कठोपनिषद् की कथा की अनुगूँज नहीं सुनाई पड़ती?
मैं इस बारे में क्या कह सकता था! वैसे अपने स्वाध्याय ब्लॉग में इस बारे में बहुत कुछ सन्दर्भ सहित विस्तार से लिखा है । यहाँ केवल जानकारी दे रहा हूँ।
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