March 07, 2022

बात, वक़्त-वक़्त की!

कविता / 07-03-2022

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जब भी मन हो तो बात कर लेना,

मन न हो अगर, तो कोई बात नहीं!

मिलना, न मिलना, जरूरी तो नहीं,

मिलना न मिलना, मुलाक़ात नहीं!

वक़्त की बात है, कि जरूरी ही हो,

हर घडी़ मुनासिब, ऐसे हालात नहीं!

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