December 15, 2021

मैं, मेरा संसार...

और मेरा जीवन! 

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तीन ये ध्रुव, हैं मुझमें, 

और मैं हूँ बँटा हुआ, 

तीन ध्रुवों में!

तीनों अलग अलग हैं,

फिर भी अलग अलग नहीं!

मैं, संसार में हूँ, 

और संसार मुझमें!

मैं जीवन में हूँ,

और जीवन मुझमें!

संसार जीवन में है,

और जीवन संसार में!

हर ध्रुव के सन्दर्भ में,

शेष दोनों, हैं गौण!

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